Sunday, June 28, 2015

पूर्णिमा प्रकाशित

रौतहटसे एगो साहित्यिक पत्रिकाके प्रकाशन भेल हए । मध्यरौतहट साहित्य समाजके ओरसे पूर्णिमा साहित्यिक त्रैमासिकके पहिल अंकके प्रकाशन कएलगेल हए । नेपाली भाषा आ साहित्यके क्षेत्रमे कुछ बरिससे प्रकाशनके अवस्था शून्य रहलापर पूर्णिमाके प्रकाशनसे साहित्यिक जगतमे नयाँ ऊर्जाके संचार भेल हए । आठ पृष्ठके मात्रे रहल पूर्णिमा लघुपत्रिकामे विभिन्न विधाके साहित्यिक रचना प्रस्तुत कएलगेल हए । पत्रिकामे बज्जिका भाषाके रचनाके भी पर्याप्त स्थान देलगेल हए । पत्रिकाके व्यवस्थापन पक्षमे जिसी हरि, विश्वनाथ सञ्जेल, राम अधार पासवान, रेणु गुप्ता, सञ्जय मित्र आ सञ्जय सुदामासहित आधा दर्जन साहित्यानुरागी लोगके रहल हए । पत्रिकामे डा. घनश्याम परिश्रमी, रुद्र ज्ञवाली, रमेश समर्थन, माधव काफ्ले, शीतल गिरी, रमेश मोहन अधिकारी, गोपाल सञ्जेल, आरआर चौलागाई, दीपक गौतम, डा. वशी मिकरानी सन्तराम राईलगायत करिब दू दर्जन सर्जकके लघु आकारके रचना प्रकाशित भेल हए । पत्रिकाके निरन्तरताके प्रतिबद्धतासहित जिलाके पहिचानके रुपमे पत्रिकाके स्थापित करेके योजना रहल पत्रिकाके व्यवस्थापन पक्षमे संलग्न साहित्यकार विश्वनाथ सञ्जेल जानकारी करएले छत ।

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